हिम न्यूज़ ऊना – शिक्षा के द्वारा ज्ञान में बढ़ोतरी के साथ-साथ कौशल विकास वर्तमान समय की आवश्यकता है ताकि शिक्षित युवा पीढ़ी रोजगार एवं स्वरोजगार के माध्यम से आत्मनिर्भर बनकर सम्मान पूर्वक जीवन यापन कर सकें। भारत की प्राचीन शिक्षा पद्धति व्यक्ति में आत्मनिर्भरता के साथ-साथ सामाजिक, सांस्कृतिक व बौद्धिक विकास के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण थी। लेकिन गुलामी के दौर में भारत की प्राचीन समृद्ध संस्कृति व शिक्षा पद्धति को विदेशी ताकतों द्वारा समाप्त किया गया। यह जानकारी ग्रामीण विकास, पंचायती राज, कृषि, पशुपालन तथा मत्स्य विभाग मंत्री वीरेंद्र कंवर ने राजकीय महाविद्यालय बंगाणा के वार्षिक पारितोषिक वितरण समारोह के अवसर पर उपस्थित छात्र-छात्राओं तथा स्थानीय लोगों को संबोधित करते हुए दी।
वीरेंद्र कंवर ने कहा कि प्रतिस्पर्धा के वर्तमान दौर में युवा पीढ़ी को लक्ष्य निर्धारित कर उसके प्रति समर्पित होकर परिश्रम करने की आवश्यकता है। उन्होंने बताया कि करीब दो दशक पूर्व कुटलैहड़ विधानसभा क्षेत्र विकास की दृष्टि से अत्यंत पिछड़ा क्षेत्र था जहां पर सड़क, स्वास्थ्य, शिक्षा तथा पेयजल के क्षेत्र में बहुत कम सुविधाएं थीं। उन्होंने कहा कि गत दो दशकों में इन सभी क्षेत्रों में अभूतपूर्व विकास हुआ है। उन्होंने बताया कि धूमल सरकार के प्रथम कार्यकाल तक तहसील मुख्यालय बंगाणा में पांचवी कक्षा तक का विद्यालय था जबकि वर्तमान में बंगाणा में वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय के साथ-साथ स्नातकोत्तर महाविद्यालय कार्यरत है। जहां पर लगभग 12 सौ छात्र-छात्राएं शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं। उन्होंने बताया कि शिक्षा में गुणात्मक सुधार इस क्षेत्र में लड़कियों के शिक्षा स्तर में बढ़ोतरी हुई है।
ग्रामीण विकास व पंचायती राज मंत्री ने बताया कि उपमंडल मुख्यालय बंगाणा में 14 करोड रुपए की लागत से अस्पताल भवन का निर्माण किया जा रहा है। जबकि 1.5 करोड़ रुपए की लागत से वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय बंगाणा का साइंस ब्लॉक का भवन निर्मित किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि बंगाणा में साढ़े चार करोड पर की लागत से बनने वाले खेल स्टेडियम की निर्माण प्रक्रिया अंतिम चरण में है तथा शीघ्र ही कार्य शुरू किया जाएगा।
वीरेंद्र कंवर ने बताया कि उपमंडल मुख्यालय बंगाणा में मिनी सचिवालय भवन, बीडीओ कार्यालय भवन तथा अग्निशमन कार्यालय तथा उप रोजगार कार्यालय इत्यादि खोले गए कार्यालय इस क्षेत्र में हुए अभूतपूर्व विकास के साक्षी हैं। वीरेंद्र कंवर ने बंगाणा महाविद्यालय स्टाफ और छात्रों की मांग पर एक जल भंडारण टैंक बनाने तथा भविष्य में अन्य विषयों में स्नातक विषय में कक्षाएं आरंभ करने का आश्वासन दिया।
इससे पूर्व बंगाणा महाविद्यालय के प्रधानाचार्य डॉ सतेंद्र कुमार ने महाविद्यालय से संबंधित वार्षिक रिपोर्ट प्रस्तुत की। उन्होंने जानकारी दी कि इस कालेज में जिला ऊना के अलावा सीमावर्ती जिला कांगड़ा व हमीरपुर के छात्र छात्राएं भी शिक्षा ग्रहण करते हैं। उन्होंने महाविद्यालय के बनने से लेकर अब तक हुई प्रगति व विकास कार्यों बारे विस्तृत जानकारी दी।
वीरेंद्र कंवर ने बंगाणा में 75 लाख रुपए की लागत से नवनिर्मित ग्राम पंचायत मुछाली के पंचायत घर एवं सामुदायिक भवन के विधिवत लोकार्पण भी किया।
इस अवसर पर महाविद्यालय बंगाणा के प्रधानाचार्य डॉ सतेंद्र शर्मा, हिमाचल प्रदेश राज्य महिला आयोग की सदस्य इंदु दड़ोच, बीडीसी बंगाणा के अध्यक्ष देवराज शर्मा, ग्राम पंचायत पलाहटा के प्रधान दीपांकर कंवर, ग्राम मुछाली पंचायत के प्रधान विजय शर्मा, कुटलैहड़ भाजपा मंडल महामंत्री रमेश शर्मा, हिमफैड के निर्देशक चरनजीत शर्मा, हिमाचल प्रदेश भाजपा किसान मोर्चा के मीडिया प्रभारी मदन राणा, कुटलैहड़ वैटनर्ज़ एसोसिएशन के अध्यक्ष कर्नल केसी शर्मा, भाजपा मंडल प्रवक्ता सुरेंद्र हटली सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी व कर्मचारी जी मौजूद थे।