इस योजना के तहत जिला भर में 20 हजार 555 आवेदन प्राप्त हुए है। इनमें से 5170 आवदेनों की सत्यापन प्रक्रिया हो चुकी है। इनमें से 2534 को आगामी प्रक्रिया के लिए चयनित किया गया है, जबकि 4916 आवेदन को अनुमोदित नहीं किया गया तथा 7935 आवदेनों की सत्यापन प्रक्रिया अभी लंबित है।
उपायुक्त ने कहा कि जिला भर में लंबित आवेदनों की प्रक्रिया को कम से कम समय में पूरा किया जाए ताकि लाभार्थियों का चयन शीघ्र हो सके और उन्हें लाभ मिल सके। विश्वकर्मा स्कीम दो प्रकार का कौशल विकास कार्यक्रम होता है जिसमें पहला ‘बेसिक’ और दूसरा ‘एडवांस’ होता है। इस कोर्स को करने वालों को मानदेय (स्टाइपंड) भी मिलता है। कौशल प्रशिक्षण प्राप्त करने वाले लाभार्थियों को प्रतिदिन 500 रुपये के हिसाब से मानदेय दिया जाता है।
पीएम विश्वकर्मा योजना के तहत कारीगरों और शिल्पकारों को पीएम विश्वकर्मा प्रमाणपत्र प्रदान कर मान्यता भी दी जाती है। इसके साथ ही विश्वकर्मा पहचान पत्र भी मिलता है। इस योजना के तहत कारीगरों को डिजिटल लेनदेन में प्रोत्साहन और बाजार समर्थन प्रदान किया जाता है। इस तरह से कारीगरों और शिल्पकारों को अपने काम में सुधार, तेजी और गुणवत्ता लाने के लिए आधुनिक उपकरण खरीदने के लिए 15 हजार रुपये की अतिरिक्त मदद भी प्रदान की जाती है। बैठक में अतिरिक्त उपायुक्त अभिषेक वर्मा सहित अन्य गणमान्य व्यक्ति भी मौजूद रहे।